नई खोज से कामसूखे में टिकी रहेगी फसल, क्लाइमेट चेंज का नहीं होगा असर

क्या हो अगर दुनिया में होने वाली फसलों पर जलवायु परिवर्तन और बेवक्त मौसम का असर ना हो? अगर ऐसा हो सका तो दुनिया को बहुत सारी समस्याओं से एक साथ निजात मिल सकती है.  नॉटिंघम विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने जो खोज की है वह पौधों को इसी तरह का बना सकता है. उन्होंने पौधों की जड़ के ऐसे खास प्रोटीन की खोज की है जो उनमें पानी और पोषक तत्वों के प्रवाह को नियंत्रित करता है. वैज्ञानिकों को उम्मीद है कि इससे सूखा प्रतिरोधी फसलों का विकास किया जा सकेगा और भविष्य दुनिया की खाद्य सुरक्षा को भी सुनिश्चित करना संभव हो पाएगा.

एक खास प्रोटीन से होगा
यह अध्ययन साइंस जर्नल मे प्रकाशित हुआ है. शोधकर्ताओं ने पौधों की जड़ में डिरिजेंट प्रोटीन खोजा है जो कोशिकाओं की अंदरूनी परत एंडोडर्मिस में लिग्निन बाधा को नियंत्रित करती हैं. इसी से जड़ कितना पानी और पोषण अवशोषित करती है, यह नियंत्रित हो सकता है. उन्होंने इसी प्रणाली को समझने का प्रयास किया.

सीलेंट की तरह काम
यह प्रोटीन पौधों की जड़ के लिए एक तरह का सीलेंट का काम करता है जिससे प्रवाह नियंत्रित होता है और रुक भी सकता है. शोधकर्ताओं का कहना है कि इससे ऐसी फसलों का विकास हो सकेगा जो जलवायु परिवर्तन का प्रतिरोध कर सकती हैं. इसके अलावा उन्हें कम पानी और कम रसायानिक खाद की जरूरत होगी.